उत्तर प्रदेश भारत के उत्तर में स्थित प्रमुख राज्यों में शामिल है। यह राजनीतिक, आर्थिक और सांस्कृतिक रूप से भारत का महत्त्वपूर्ण राज्य है। राज्य का इतिहास हमें महाकाव्य महाभारत से लेकर 1857 की क्रांति में भी पढ़ने को मिलता है। यहां के प्रत्येक शहर और जिले की अपनी कहानी है। बीते कुछ वर्षों में राज्य ने शिक्षा के क्षेत्र में अहम उपलब्धियां हासिल की हैं।
इस कड़ी में यहां साक्षरता की दर भी बढ़ी है। हालांकि, क्या आप जानते हैं कि यूपी के किस जिले को शिक्षा की नगरी भी कहा जाता है। कौन-सा है यह जिला, जानने के लिए यह लेख पढ़ें।
उत्तर प्रदेश में कुल जिले और मंडल
उत्तर प्रदेश पूरे भारत में सबसे अधिक जिले वाला राज्य है। यहां कुल 75 जिले हैं, जो कि 18 मंडलों में आते हैं। ये सभी मंडल कुल चार संभागों का हिस्सा हैं। प्रदेश में कुल 75 नगर पंचायत, 351 तहसील, 17 नगर निगम, 826 सामुदायिक विकास खंड, 5 विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरण और 1 लाख से अधिक गांव हैं।
किस जिले को कहा जाता है ‘शिक्षा की नगरी’
अब सवाल है कि यूपी के किस जिले को ‘शिक्षा की नगरी’ भी कहा जाता है, तो आपको बता दें कि यूपी के प्रयागराज जिले को शिक्षा की नगरी भी कहा जाता है।
क्यों कहा जाता है शिक्षा की नगरी
प्रयागराज ब्रिटिश समय से ही प्रशासनिक और शैक्षिक केंद्र के रूप में जाना जाता रहा है। यहां भारत के कई प्रतिष्ठित ऐतिहासिक शैक्षणिक संस्थान मौजूद हैं, जिनमें इलाहबाद विश्वविद्यालय से लेकर मोतीलाल नेहरू राष्ट्रीय प्रोद्योगिकी संस्थान,भारतीय सूचना प्रोद्योगिकी संस्थान और कई महत्त्वपूर्ण संस्थान हैं।
वहीं, जिले को सिविल सेवाओं से लेकर इंजीनियरिंग और मेडिकल प्रवेश परीक्षा की तैयारी के लिए भी जाना जाता है। यही वजह है कि जिले को ‘शिक्षा की नगरी’ के रूप में भी जाता है।
जिले के ये इलाके हैं मशहूर
प्रयागराज जिले में कई ऐसे इलाके हैं, जो कि प्रमुख रूप से कोचिंग के लिए जाने जाते हैं। इन इलाकों में कर्नलगंज शामिल है, जहां UPSC, UPPSC, NEET और JEEMAINS की तैयारी के लिए छात्र पहुंचते हैं। इसके अतिरिक्त, इलाहाबाद विश्वविद्यालय के पास कटरा इलाका भी कोचिंग हब के रूप में पहचान रखता है।
जिले का बैंक रोड और सिविल लाइंस भी कोचिंग हब के लिए जाना जाता है। यहां कई प्रमुख कोचिंग संस्थान स्थित हैं। यही वजह है कि हर साल प्रयागराज में परीक्षा की तैयारी करने वाले छात्रों का तांता लगता है और हर साल यहां की गलियों से भारत को सिविल सेवक से लेकर डॉक्टर और इंजीनियर मिलते हैं।
हम उम्मीद करते हैं कि यह लेख आपको पसंद आया होगा। इसी तरह सामान्य अध्ययन से जुड़ा अन्य लेख पढ़ने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें।
पढ़ेंःभारत का वह दरवाजा, जहां मुगलों के भविष्य का हुआ था अंत
Comments
All Comments (0)
Join the conversation